हिंदी ध्वनियों (वर्णों) के उच्चारण स्थान, वर्गीकरण एवं विशेषतायें

हिंदी ध्वनियों (वर्णों) के उच्चारण स्थान, वर्गीकरण एवं विशेषतायें

भारतीय भाषाशास्त्र की परंपरा अत्यंत प्राचीन और समृद्ध है। संस्कृत, प्राकृत और अपभ्रंश के माध्यम से विकसित हुई हिंदी भाषा में ध्वनिविज्ञान (Phonetics) का विशेष महत्व है। ध्वनि ही भाषा का आधार है और ध्वनियों के व्यवस्थित अध्ययन के बिना भाषा-विज्ञान अधूरा माना जाता है। संस्कृत और हिंदी व्याकरण में ध्वनियों के उच्चारण-स्थान (Articulatory places … Read more

ब्राह्मी लिपि से आधुनिक भारतीय लिपियों तक: उद्भव, विकास, शास्त्रीय प्रमाण, अशोक शिलालेख

ब्राह्मी लिपि से आधुनिक भारतीय लिपियों तक: उद्भव, विकास, शास्त्रीय प्रमाण, अशोक शिलालेख

मानव सभ्यता के विकास में भाषा और लिपि की भूमिका अतुलनीय रही है। विचारों का आदान-प्रदान, ज्ञान का संप्रेषण, सांस्कृतिक धरोहर का संरक्षण और धार्मिक ग्रंथों का प्रसार — ये सब लिपि के माध्यम से संभव हुए। भारतीय परंपरा में लिपि का उद्भव केवल एक सांस्कृतिक घटना नहीं, बल्कि दैवीय कृपा और ज्ञान परंपरा का … Read more

लिपि : परिभाषा, अर्थ, इतिहास, प्रकार, रूपांतरण और उदाहरण

लिपि : परिभाषा, अर्थ, इतिहास, प्रकार, रूपांतरण और उदाहरण

मानव सभ्यता का इतिहास भाषा और संवाद के विकास से गहराई से जुड़ा हुआ है। मौखिक परंपराओं से लेकर लिखित शब्दों तक की यात्रा ने समाज, संस्कृति, शिक्षा, प्रशासन और विज्ञान को आकार दिया। भाषा मनुष्य की अभिव्यक्ति का सबसे महत्वपूर्ण साधन है, और लिपि उस भाषा को स्थायित्व देने वाला माध्यम। बिना लिपि के … Read more

हिंदी निबंध लेखन : स्वरूप, प्रकार एवं कला

हिंदी निबंध लेखन

हिन्दी साहित्य की गद्य-विधाओं में निबंध का एक महत्वपूर्ण और विशिष्ट स्थान है। यह केवल विचारों की अभिव्यक्ति का माध्यम ही नहीं, बल्कि लेखक के व्यक्तित्व, दृष्टिकोण, कल्पनाशक्ति, भावनात्मक संवेदनशीलता और तार्किकता का भी दर्पण है। निबंध लेखन का उद्देश्य केवल जानकारी देना नहीं, बल्कि पाठक को विषय के साथ जोड़ते हुए उसे भावनात्मक और … Read more

तत्सम और तद्भव शब्दों की सूची

तत्सम और तद्भव शब्दों की सूची

तत्सम और तद्भव शब्दों की सूची संस्कृत से उत्पन्न हुए तत्सम और तद्भव शब्दों का संग्रह है, जो हिंदी भाषा में प्रयुक्त होते हैं। तत्सम शब्द वे होते हैं, जो संस्कृत से सीधे बिना कोई परिवर्तन किए हिंदी में आए हैं, जबकि तद्भव शब्द वे होते हैं, जो संस्कृत से हिंदी में आते समय ध्वनि, … Read more

युग्म-शब्द : अर्थ, परिभाषा, 500+ उदाहरण | उच्चारण में समान अर्थ में भिन्न

युग्म-शब्द (शब्द युग्म) | उच्चारण में सामान अर्थ में भिन्न

शब्द-युग्म (युग्म-शब्द) हिंदी व्याकरण और साहित्य का एक अत्यंत महत्वपूर्ण विषय है, जो विद्यार्थियों, प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वालों तथा भाषा-प्रेमियों के लिए समान रूप से उपयोगी है। शब्द-युग्म (युग्म-शब्द) ऐसे शब्दों को कहा जाता है, जिनका उच्चारण और वर्तनी लगभग समान होती है, किंतु उनके अर्थ अलग-अलग होते हैं। इन्हें ‘समश्रुत शब्द’, ‘श्रुतिसम … Read more

पदबन्ध (Phrase) | परिभाषा, भेद एवं उदाहरण

पदबन्ध (Phrase) | परिभाषा, भेद एवं उदाहरण

पदबन्ध (Padbandh) एक साहित्यिक संज्ञा है जो संस्कृत व्याकरण और साहित्य में प्रयोग होती है। यह शब्द दो शब्दों “पद” और “बन्ध” से मिलकर बना है। “पद” का अर्थ होता है शब्द या वाक्यांश, और “बन्ध” का अर्थ होता है बंधन या जोड़ना। इस प्रकार, पदबन्ध का अर्थ है शब्दों या वाक्यांशों का विशेष प्रकार … Read more

शब्द किसे कहते हैं? तत्सम, तद्भव, देशज एवं विदेशी शब्द

शब्द किसे कहते हैं? तत्सम, तद्भव, देशज एवं विदेशी शब्द

शब्द उस ध्वनि या ध्वनि समूह को कहते हैं जो किसी भाषा में एक अर्थ को प्रकट करता है। यह ध्वनि या ध्वनि समूह एक या एक से अधिक वर्णों से मिलकर बना होता है। उदाहरण के लिए: शब्द केवल अर्थपूर्ण ध्वनियों का समूह नहीं है, बल्कि यह भाषा का आधारभूत तत्व है, जिसके माध्यम … Read more

शब्द शक्ति: परिभाषा और प्रकार | अमिधा | लक्षणा | व्यंजना

शब्द शक्ति

शब्द और अर्थ के सम्बन्ध को ध्यान में रखने वाले तत्त्व को शब्द की शक्ति कहते हैं। अर्थात किसी शब्द में छिपे अर्थ का बोध करने वाली शक्ति को शब्द शक्ति कहते हैं। “अभिधा, लक्षणा और व्यंजना” शब्द की तीन शक्तियाँ हैं। शब्द तीन प्रकार के होते हैं – वाचक, लक्षक और व्यंजक, और प्रत्येक … Read more

निपात | परिभाषा, प्रकार तथा 50 + उदाहरण

निपात

निपात का प्रयोग मुख्य रूप से अव्यय के लिए होता है। परन्तु निपात शुद्ध अव्यय नहीं होते हैं। निपात का कोई लिंग अथवा वचन नहीं होता है। इनका प्रयोग निश्चित शब्द, शब्द के समूह अथवा पूरे वाक्य को अन्य (अतिरिक्त) भावार्थ प्रदान करने के लिए किया जाता है। निपात सहायक शब्द होने के बाद भी … Read more

सर्वनाम (Pronoun) किसे कहते है? परिभाषा, भेद एवं उदाहरण भगवान शिव के 12 ज्योतिर्लिंग | नाम, स्थान एवं स्तुति मंत्र प्रथम विश्व युद्ध: विनाशकारी महासंग्राम | 1914 – 1918 ई.